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डिवोटेड सोसाइटी फॉर ह्यूमन रिफॉर्मेशन एंड डेवलपमेंट का 77वां जागरूकता सेमिनार संपन्न

जौनपुर: स्थानीय राजकीय महिला अस्पताल में डिवोटेड सोसाइटी फॉर ह्यूमन रिफॉर्मेशन एंड डेवलपमेंट (डी एस एच आर डी) के बैनर तले 77 वां जागरूकता सेमिनार संपन्न किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत सरस्वती शिशु मंदिर के बच्चों द्वारा योग नृत्य, पद संचलन तथा प्रियांशी जायसवाल के मधुर स्वागत गीत से की गई। 

कार्यक्रम के मुख्य अतिथि न्यायमूर्ति सखाराम सिंह यादव ने सबसे पहले संस्था के संस्थापक स्वर्गीय आर के गुप्ता जी को अपनी श्रद्धांजली अर्पित किया। उन्होंने कहा कि इस धरती में हमारा अस्तित्व पैराराक्सिकल है, जहाँ धूप, छाँव, अच्छे बुरे सब प्रकार हैं, इसी समाज में ऐसे भी लोग हैं जो दूसरों के मानवाधिकारों का सम्मान भी करेंगे और कुछ उनका उलंघन भी। संगठन के नाम में रिफॉर्मेशन एंड डेवलपमेंट शब्द जुड़ा हुआ है, जहाँ डेवलपमेंट हमारी सरकारें कर रही हैं पर रिफॉर्मेशन यानी सुधार, मानवीय सोंच में सुधार पर भी इस संगठन को कार्य करना चाहिए। हमारा अस्तित्व इंटरडिपेंडेंट है यानी हम आप सभी एक - दूसरे पर निर्भर हैं, यदि यह बात समझ में आ जाए तो गरीब-अमीर, ऊंच-नीच, जाति-धर्म के नाम पर होने वाला शोषण बंद हो जायेगा। जहाँ तक हमारे राइट्स की बात है तो वह हमारे संविधान में लिखा है, न्याय, स्वतंत्रता, समानता, भाईचारा की बात संविधान के प्रियम्बल में सबसे पहले रखा गया है। जब यह भाव हम सभी में आ जायेगा तो अधिकारों का हनन स्वतः रुक जायेगा।

कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे न्यायमूर्ति राजमणि सिंह चौहान ने कहा कि मानावाधिकार हमारे सनातन धर्म की ही अवधारणा है। हमारे भारतवर्ष में पहले से ही विश्व बंधुत्व का सन्देश दिया गया है, सभी धर्म ग्रंथों में सभी को बराबर सम्मान दिया गया है। संयुक्त राष्ट्र महासभा के द्वारा मानवाधिकार की नींव 1948 में रखी गई थी। समय समय पर इसमें बदलाव भी होता रहा। मानवाधिकार का सबसे ज्यादा हनन सरकारी तंत्रों द्वारा किया जाता रहा है और इन सब पर जागरूकता ही इससे लड़ने का सबसे बड़ा हथियार है।

विशिष्ट अतिथि मधु गुप्ता (चेयरमैन, डी.एस.एच.आर.डी.) ने कहा कि डी.एस.एच.आर.डी. संगठन ने सन 2004 से अपनी स्थापना के बाद अपने सम्मानित सदस्यों और पदाधिकारियों के सहयोग से उत्तर प्रदेश के 19 जिलों, मध्य प्रदेश के 2 जिलों तथा छत्तीसगढ़ के 1 जिले में अब तक कुल 76 जागरूकता  सेमिनार आयोजित कर चुका है और आज हम आप सभी 77 वें सेमिनार में सम्मिलित हुए हैं। संगठन के संस्थापक स्व राज कुमार गुप्ता जी हमेशा एक बात पर बेहद ज्यादा जोर देते थे कि लोगों के अधिकारों का बचाव तब ही संभव है, जब वे जागरूक होंगे। मौजूदा समय में राज्य और केंद्र सरकार मिलकर 80 से ज्यादा योजनाओं का संचालन कर रही है,  पर हम खुद जागरूक नहीं है। ये सभी योजनाएं हमारे द्वारा दिए गए टैक्स से संचालित की जाती है, अतः यह हमारा हक़ है की इनके प्रति हम जानकार बने। मानवाधिकार आयोग, न्यायालयों एवं सरकारों द्वारा भी कई प्रकार के कार्यक्रम संचालित किये जाते हैं, पर जब तक हम स्वयं जागरूक नहीं बनेंगे तब तक अपने अधिकारों की रक्षा कर पाना संभव नहीं होगा। 

इस दौरान जिले के अपर न्यायाधीश सूबेदार सिंह तथा निजी सचिव (चेयरमैन) राहुल सिंह, प्रदेश उपाध्यक्ष मदन मोहन सिंह, प्रदेश महासचिव सौरभ मोदनवाल, प्रदेश सचिव अमित अग्रहरी, पूर्वी जोन अध्यक्ष रमाकांत जी, जौनपुर टीम एवं शाहगंज के अन्य सम्मानित सदस्य उपस्थित थे।

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